दिल्ली के समग्र वायु गुणवत्ता सूचकांक में अचानक गिरावट देखी गई, सुधार के मजबूत संकेतों का अवलोकन किया गया

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केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीपीसीबी) द्वारा शाम 4 बजे जारी किए गए वायु गुणवत्ता सूचकांक-एक्यूआई बुलेटिन के अनुसार दिल्ली की समग्र वायु गुणवत्ता कल देर रात से अचानक, तेजी से और अप्रत्याशित रूप से खराब श्रेणी में पहुंच गई। शहर का समग्र वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) में आज 407 दर्ज किया गया है। कल दर्ज किए गए (294) अंक के वायु गुणवत्ता सूचकांक में 113 अंकों की वृद्धि दर्ज की गई। दिल्ली के औसत वायु गुणवत्ता सूचकांक में इस अचानक वृद्धि को ध्यान में रखते हुए, वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग (सीएक्यूएम) की उप-समिति ने राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र-एनसीआर और आस-पास के क्षेत्रों में श्रेणीबद्ध प्रतिक्रिया कार्य योजना (जीआरएपी) के अंतर्गत कार्रवाई शुरू करने के लिए स्थिति का आंकलन करने के लिए आज बैठक की।

बैठक के दौरान यह उल्लेख किया गया कि इस क्षेत्र में पिछले 24 घंटों में वायु गुणवत्ता मानकों में अचानक और तेज गिरावट के कारण दिल्ली का समग्र वायु गुणवत्ता सूचकांक आज “गंभीर” श्रेणी में चला गया, क्योंकि यह व्यक्त किए गए पूर्वानुमान के अनुसार तत्काल सुधार की भविष्यवाणी के बिल्कुल विपरीत है, जबकि आज रात से ही समग्र वायु गुणवत्ता सूचकांक ‘बहुत खराब’ श्रेणी में चला गया है।

भारतीय मौसम विभाग-आईएमडी/भारतीय उष्णकटिबंधीय मौसम विज्ञान संस्थान-आईआईटीएम द्वारा प्रदान किए गए गतिशील मॉडल और मौसम/मौसम संबंधी पूर्वानुमान के अनुसार, एक मजबूत संकेत है कि दिल्ली की समग्र वायु गुणवत्ता सूचकांक में सुधार शुरू हो जाएगा, औसत वायु गुणवत्ता सूचकांक की गिरावट पहले से ही दिखाई दे रही है, और मोटे तौर पर आने वाले दिनों में खराब’ से ‘बेहद खराब’ श्रेणी ‘के बीच उतार-चढ़ाव की संभावना है।

उप-समिति ने उपरोक्त स्थिति को ध्यान में रखते हुए और वायु गुणवत्ता परिदृश्य और अन्य प्रासंगिक पहलुओं की व्यापक समीक्षा के बाद निर्णय लिया कि चरण- I के साथ-साथ श्रेणीबद्ध प्रतिक्रिया कार्य योजना के चरण- II के अंतर्गत कार्यान्वित की जा रही कार्रवाई जारी रहेगी और इस समय चरण- III को लागू करना आवश्यक नहीं समझा गया है।

राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र-एनसीआर और दिल्ली प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड-डीपीसीसी के श्रेणीबद्ध प्रतिक्रिया कार्य योजना और प्रदूषण नियंत्रण बोर्डों (पीसीबी) के अंतर्गत उपायों को लागू करने के लिए जिम्मेदार विभिन्न एजेंसियों को भी पूरे राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र में प्रदूषण नियंत्रण और श्रेणीबद्ध प्रतिक्रिया कार्य योजना के चरण- I और चरण- II के अंतर्गत प्रदूषण नियंत्रण को कम करने की सलाह दी गई है ताकि वायु गुणवत्ता सूचकांक की गिरावट को रोका जा सके। इसके अलावा, उप-समिति स्थिति पर बारीकी से नजर रख रही है और इसके अनुसार वायु गुणवत्ता परिदृश्य की समीक्षा करेगी। श्रेणीबद्ध प्रतिक्रिया कार्य योजना का संशोधित कार्यक्रम आयोग की आधिकारिक वेबसाइट पर उपलब्ध है और इसे caqm.nic.in के माध्यम से देखा जा सकता है।

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