यह जेंडर और जनसांख्यिकीय परिवर्तन भारत जैसे विविधतापूर्ण देश के लिए शुभ संकेत है: डॉ. जितेंद्र सिंह
राज्य मंत्री डॉ. जितेंद्र सिंह ने आईएएस/ सिविल सेवा परीक्षा 2022 के पहले 20 ऑल इंडिया टॉपर्स को किया सम्मानित
नई दिल्ली, 31 मई। डॉ. जितेंद्र सिंह, राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार), विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्रालय, प्रधानमंत्री कार्यालय में एमओएस, कार्मिक मंत्रालय, लोक शिकायत और पेंशन, परमाणु ऊर्जा विभाग, अंतरिक्ष विभाग, ने आज आईएएस/सिविल सेवा परीक्षा 2022 के पहले 20 अखिल भारतीय टॉपर्स के साथ बातचीत की और उन्हें सम्मानित किया। इन सफल उम्मीदवारों को यहां नॉर्थ ब्लॉक में कार्मिक और प्रशिक्षण विभाग (डीओपीटी) मुख्यालय में बुलाया गया था। सिविल सेवा परीक्षा का परिणाम 23 मई 2023 को घोषित किया गया था।
डॉ. जितेंद्र सिंह ने कहा कि आमंत्रित किए गए पहले 20 आईएएस/सिविल सेवा टॉपर्स में पहले चार टॉपर्स और शीर्ष 20 में से 60 प्रतिशत महिलाएं हैं और यह प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के पिछले 9 वर्षों में हो रहे जनसांख्यिकीय परिवर्तन का एक बड़ा प्रतिबिंब है और भारत महिला भागीदारी से महिला नेतृत्व की ओर बढ़ रहा है। उन्होंने याद किया कि पिछले साल भी शीर्ष तीन टॉपर महिलाएं थीं और उम्मीद जताई कि 2023 की सिविल सेवा परीक्षा में महिलाओं की इस मामले में हैट्रिक बनेगी।
डॉ. जितेंद्र सिंह ने यह भी रेखांकित किया कि इस वर्ष शीर्ष 20 में से केवल 8 इंजीनियर और एक मेडिको हैं और बाकी आर्ट्स स्ट्रीम से हैं और उन्होंने इस बदलाव का स्वागत करते हुए इसे प्रौद्योगिकी के अधिकतम और उचित उपयोग के माध्यम से सेवाओं का लोकतंत्रीकरण बताया।
डॉ. जितेंद्र सिंह ने पिछले कुछ वर्षों में हो रहे जनसांख्यिकीय परिवर्तन पर भी ध्यान आकर्षित करते हुए कहा कि ये सभी उम्मीदवार पूरे भारत का प्रतिनिधित्व करते हैं क्योंकि ये बिहार, उत्तर प्रदेश, पंजाब, दिल्ली, हरियाणा, महाराष्ट्र, केरल, मध्य प्रदेश, राजस्थान और तेलंगाना राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों से आते हैं। उन्होंने कहा कि यह जेंडर और जनसांख्यिकीय परिवर्तन भारत जैसे विविधतापूर्ण देश के लिए शुभ संकेत है। डॉ. जितेंद्र सिंह ने यह भी रेखांकित किया कि केंद्रीय विद्यालय, नवोदय स्कूल और सरकारी स्कूलों से स्कूली शिक्षा प्राप्त करने वाले उम्मीदवार भी परीक्षा में सफल हो रहे हैं, जबकि पहले यह ज्यादातर एलीट स्कूलों तक ही सीमित था।
शीर्ष-20 रैंकर्स और उनके परिवार के सदस्यों को अपने स्वागत भाषण में डॉ. जितेंद्र सिंह ने सिविल सेवकों के 2022 बैच को “चेंज ऑफ़ लीडर्स” के रूप में वर्णित किया क्योंकि जब आज से 25 साल बाद जब दुनिया के अग्रिम पंक्ति के देशों में से एक के रूप में भारत आजादी के 100 साल का जश्न मनाएगा तो वे प्रशासन के प्रमुख पदों पर होंगे।
डॉ. जितेंद्र सिंह ने अधिकारियों को यह भी बताया कि आधुनिक समय के अनुरूप एलबीएसएनएए में पाठ्यक्रम में एक बड़ा और सकारात्मक बदलाव आया है और मिशन कर्मयोगी और मिशन प्रारंभ के अलावा, युवा प्रोबेशनर्स के पास उन्हें संबंधित राज्य या केंद्र शासित प्रदेश का कैडर मिलने से पहले केंद्र सरकार में 3 महीने का मेंटरशिप कार्यकाल पूरा करने का मौका भी होगा।
संघ लोक सेवा आयोग ने 23 मई, 2023 को सिविल सेवा परीक्षा (सीएसई) -2023 का अंतिम परिणाम घोषित किया। आयोग द्वारा कुल 933 उम्मीदवारों (613 पुरुष और 310 महिलाएं) को विभिन्न सेवाओं में नियुक्ति के लिए निम्नलिखित के अनुसार सिफारिश की गई है:
सामान्य वर्ग | ईडब्ल्यूएस | ओबीसी | एससी | एसटी | कुल | इनमें से दिव्यांग |
345 | 99 | 263 | 154 | 72 | 933 | 41 |
इशिता किशोर (रोल नंबर 5809986) ने सिविल सेवा परीक्षा, 2022 में टॉप किया है। वह उत्तर प्रदेश से ताल्लुक रखती हैं। उन्होंने अपने वैकल्पिक विषय के रूप में राजनीति विज्ञान और अंतर्राष्ट्रीय संबंधों के साथ परीक्षा उत्तीर्ण की। इशिता किशोर ने दिल्ली विश्वविद्यालय से बी.ए. (ऑनर्स) की डिग्री प्राप्त की है।
गरिमा लोहिया (अनुक्रमांक 1506175) ने सिविल सेवा परीक्षा, 2022 में दूसरा स्थान प्राप्त किया है। वह बिहार की रहने वाली हैं। उन्होंने अपने वैकल्पिक विषय के रूप में कॉमर्स एवं अकाउंट्स के साथ परीक्षा उत्तीर्ण की। गरिमा लोहिया ने दिल्ली विश्वविद्यालय से बी.कॉम की डिग्री प्राप्त की है।
उमा हरथी एन (रोल नंबर 1019872) ने सिविल सेवा परीक्षा, 2022 में तीसरी रैंक हासिल की है। वह तेलंगाना से ताल्लुक रखती हैं। उन्होंने वैकल्पिक विषय के रूप में एंथ्रोपॉलजी के साथ परीक्षा उत्तीर्ण की। उमा हरथी एन ने भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान, हैदराबाद से बी.टेक डिग्री के साथ स्नातक किया है। ।
शीर्ष 20 उम्मीदवारों में 12 महिला और 8 पुरुष उम्मीदवार शामिल हैं।
परीक्षा में शीर्ष 20 उम्मीदवारों के वैकल्पिक विषय राजनीति विज्ञान और अंतर्राष्ट्रीय संबंध, कॉमर्स एवं अकाउंट्स, एंथ्रोपॉलजी, जूलॉजी, इलेक्ट्रिकल इंजीनियरिंग, समाजशास्त्र, अर्थशास्त्र, कानून, गणित, दर्शनशास्त्र और इतिहास से हैं।
उम्मीदवारों में कुल 933 में से 41 शारीरिक रूप से अक्षम व्यक्ति 14 (लोकोमोटिव डिसएबिलिटी और सेरेब्रल पाल्सी, एलडीसीपी), 7 दृष्टिबाधित, 12 श्रवण बाधित और 8 बहु-विकलांग शामिल हैं।
सिविल सेवा (प्रारंभिक) परीक्षा, 2022 का आयोजन दिनांक 5 जून 2022 को किया गया था। इस परीक्षा के लिए 11,12,318 उम्मीदवारों ने आवेदन किया था, जिनमें से 5,13,192 उम्मीदवार वास्तव में उपस्थित हुए थे। 13,090 उम्मीदवार 16 सितंबर 2022 से 25 सितंबर 2022 तक आयोजित लिखित (मेन्स) परीक्षा में उपस्थित होने के लिए योग्य थे। उनमें से 2529 उम्मीदवार इंटरव्यू/ पर्सनेलिटी टेस्ट के लिए क्वालिफाई हुए थे।
टॉप 20 उम्मीदवारों के बारे में जानकारी-
शैक्षणिक योग्यता की जानकारी
ग्रेजुएशन स्ट्रीम | इंजीनियरिंग | ह्यूमैनिटीज | मेडिकल | साइंस |
उम्मीदवारों की संख्या | 6-बीटेक, 1-एमटेक, 2-बीई | 1-एमए,
4-बीए (ऑनर्स), 1- बीकॉम, 1-एलएलबी, 1-बीबीए |
1-एमबीबीएस | 1-बीएससी,
1-एमएससी |
इस अवसर पर, डॉ. जितेंद्र सिंह ने आईएएस सिविल लिस्ट 2023 का विमोचन भी किया। ई-बुक आईएएस सिविल लिस्ट 2023 के प्रकाशन ने कार्मिक एवं प्रशिक्षण विभाग को भारी-भरकम आईएएस सिविल सूची के मुद्रण के पारंपरिक तरीके को खत्म करने में सक्षम बनाया है। ई-बुक आईएएस सिविल सूची विभाग द्वारा भारत सरकार की डिजिटल इंडिया पहल में योगदान देने का एक प्रयास है। इस कदम से नागरिक सूची के प्रकाशन की दिशा में खर्च को कम करके संसाधनों का आर्थिक उपयोग भी होगा। इस ई-पुस्तक आईएएस सिविल लिस्ट 2023 में सभी स्टेट कैडर्स के आईएएस अधिकारियों की तस्वीरों के साथ-साथ निम्नलिखित जानकारी भी शामिल है।
हर साल डीओपीएण्डटी देश भर में विभिन्न स्तरों पर कार्यरत आईएएस अधिकारियों की सिविल सूची जारी करता है। सभी संबंधित हितधारकों के साथ-साथ आम जनता के लिए सिविल सूची की उपलब्धता विभिन्न पदों पर कार्यरत आईएएस अधिकारियों की जानकारी का एक महत्वपूर्ण स्रोत है। यह सिविल लिस्ट का 68वां संस्करण है और पीडीएफ में ई-बुक का तीसरा संस्करण है, जिसे 2023 में लॉन्च किया जा रहा है, जिसमें बटन के एक क्लिक पर जानकारी तक आसानी से पहुंचने के लिए अनूठी खोज सुविधाएं और सामग्री की हाइपरलिंकिंग है।
समारोह के दौरान डीओपीटी की सचिव एस. राधा चौहान, डीएआर एंड पीजी के सचिव वी. श्रीनिवास और डीओपीटी के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।