*गीता के प्रचार के नाम पर करोड़ो खर्च- द्रोपदी का हो रहा चीरहरण , कृष्ण भी चुप।
एक तरफ तो गीता के प्रचार पर करोड़ो रुपये लगाए जा रहे है और दूसरी तरफ द्रोपदी का चीरहरण ही नहीं सामूहिक बलात्कार हो रहा है।
द्रोपदी ( गुरुग्राम के सेक्टर ५३ और ५६ में हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण की एक हज़ार करोड़ की जमीन ) का चीरहरण कर रहे है हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण के अफसर। मनोहर लाल धृतराष्ट्र की तरफ आंख मूंदे बैठे है। हस्तिनापुर की निष्ठा से बंधे एडवोकेट जनरल बलदेव महाजन सरकार को कोई क़ानूनी सलाह नहीं दे रहे। विपक्ष के नेता भूपिंदर हूडा भी मामला नहीं उठा रहे। वे क्यों उठाएंगे क्योंकि उनके चीफ मिनिस्टर रहते भी गुरुग्राम में सरकार की जमींन कौड़ियों के भाव अलॉट की गयी।? मीडिया भी चुप।
कई बार सोचता हूँ की जब सब चुप है तो में क्यों अपना खून जलाता हूँ?हमारी आशंका सही साबित हो रही है। लिख चुका हूँ की अजित बाला जी जोशी ने सेक्टर -५३ का मैक्स अस्पताल का आबंटन रद करने के आदेश में जानकर खामी रखी है ताकि उन्हें अदालत में फायदा मिल सके।
*खट्टर सरकार हनीमून का खत्म, अब मीडिया का डिलीवरी का समय
बेगानी शादी में अब्दुल्ला दीवाना। बिना मांगे सलाह देना। ठेठ हरियाणवी में कहे तो खामखा चौधरी बनना। खैर ये तो चलता है। मेरा मानना है की मेनस्ट्रीम मीडिया को अब हरियाणा की मनोहर लाल खट्टर की सरकार से हनीमून खत्म कर अब डिलीवरी की तरफ ध्यान देना चाहिए। हनीमून तो बहुत हो गया। नयी ब्याही औरत की पड़ोसन भी चर्चा करती है खुफिया तौर से पता लगाती है की उसके पैर भारी है या नहीं। नहीं तो फिर उसे जादू टोटके और तांत्रिको के पास जाने की सलाह देती है। सासु माँ भी ताने मारती है। हां घर चाँद सा छोरा आ जाए तो दुल्हन की सभी आरती उतारते है।
आजकल सरकार बेटी बचाओ पर काफी जोर दे रही है, ऐसे में यदि लक्ष्मी का रूप छोरी आ जाये फिर भी ठीक। लेकिन बाँझ को तो ताने सुनने पड़ते है।